भिवानी: मनीषा केस में युवाओं का गुस्सा उबला, हाईवे जाम
भिवानी में मनीषा प्रकरण पर युवाओं का आक्रोश, नेशनल हाईवे जाम कर प्रशासन से मांगा न्याय। जानें इस गंभीर घटना और विरोध प्रदर्शन की पूरी जानकारी।

भिवानी: मनीषा केस में युवाओं का गुस्सा उबला, हाईवे जाम, न्याय की मांग तेज
भिवानी, हरियाणा: भिवानी में मनीषा नामक युवती के साथ हुई एक "बहुत बड़ी घटना" ने पूरे हरियाणा में आक्रोश की लहर पैदा कर दी है। न्याय की मांग को लेकर युवा सड़कों पर उतर आए हैं और भानगढ़ गांव के पास राष्ट्रीय राजमार्ग को ट्रैक्टरों से पूरी तरह जाम कर दिया है। इस प्रदर्शन के कारण आम जनता को भी परेशानी का सामना करना पड़ रहा है, लेकिन प्रदर्शनकारियों का कहना है कि आम जनता उनके दुख को समझेगी। यह विरोध प्रदर्शन प्रशासन की कथित लापरवाही और आरोपियों के खिलाफ कार्रवाई में देरी के खिलाफ है।
घटना और युवाओं का गहरा आक्रोश मनीषा के साथ जो "कृत" हुआ है, उसे युवा एक "बहुत गलत" घटना मान रहे हैं। उनका कहना है कि अभी तक अपराधी पकड़े नहीं गए हैं। युवाओं में यह भावना प्रबल है कि यदि यह किसी "नेता की छोरी" होती, तो प्रशासन एक घंटे के भीतर ही कार्रवाई कर देता, लेकिन "गरीब की बेटी" होने के कारण न्याय में देरी हो रही है। प्रदर्शनकारी अपने हाथों में बैनर लिए सड़क पर खड़े हैं, जो उनके आक्रोश को दर्शाता है।
राष्ट्रीय राजमार्ग पर विरोध प्रदर्शन और प्रशासन की चुनौती भानगढ़ गांव के पास नेशनल हाईवे पर प्रदर्शनकारी डटे हुए हैं और उन्होंने पूरा रास्ता अवरुद्ध कर दिया है। उनका कहना है कि जब तक उन्हें न्याय नहीं मिलेगा, तब तक यह जाम नहीं खुलेगा। हालांकि, प्रदर्शनकारियों ने यह स्पष्ट किया है कि "इमरजेंसी केस" वाली सभी गाड़ियां, जैसे एंबुलेंस, को रास्ता दिया जाएगा। प्रशासन सड़क जाम न करने की बात कह रहा है, यह बताते हुए कि यह "सुप्रीम कोर्ट का आर्डर" है। प्रशासन के अनुसार, डिगावा में बैठे प्रदर्शनकारियों की एक कमेटी बनी है, जो प्रशासन के साथ तालमेल बनाए हुए है और वे कमेटी के निर्णय का सम्मान करेंगे।
न्याय की प्रमुख मांगें और प्रशासन पर आरोप प्रदर्शनकारियों की सबसे बड़ी मांग "इंसाफ" है। वे आरोपियों की तत्काल गिरफ्तारी चाहते हैं और मांग कर रहे हैं कि "307, 302, 75, 51" जैसी धाराओं के तहत कार्रवाई की जाए। इसके अतिरिक्त, "376 वाले" (बलात्कार से संबंधित धारा) आरोपियों को भी तुरंत गिरफ्तार करने की मांग उठाई जा रही है। कुछ प्रदर्शनकारी "गर्दन के बदले गर्दन" या "सिर के बदले 100 सर चाहिए" जैसे कठोर परिणाम की भी मांग कर रहे हैं, ताकि भविष्य में कोई ऐसी घटना करने की हिम्मत न कर सके। युवाओं का आरोप है कि प्रशासन "गुंडागर्दी" दिखा रहा है और 6 दिन बीत जाने के बावजूद आरोपियों के खिलाफ कोई ठोस कार्रवाई नहीं हुई है।
मुख्यमंत्री का बयान और जनता का आह्वान इस गंभीर मामले पर हरियाणा के मुख्यमंत्री का भी बयान आया है। उन्होंने कहा है कि "जितने भी हैं माटी में मिला दिए जा" यानी उनके "घर घेर दिए जावेंगे उनके बुलडोजर चलेगा"। हालांकि, प्रदर्शनकारियों का मानना है कि केवल घर गिराने से "जुर्म रुक" नहीं जाएंगे और "बहन बेटी का रेप" बंद नहीं होंगे। "खास हरियाणा" चैनल के माध्यम से युवाओं ने "पूरा हरियाणा भाईचारा और पूरे भारत का भाईचारा" से अपील की है कि अगर किसी के "खून में दम" है और वह अपनी "बहन ने इंसाफ दवा सके तो उतर जाओ रो पे"। सोशल मीडिया के माध्यम से भी न्याय मांगने और परिवार को इस दुख की घड़ी में मजबूती देने का आह्वान किया गया है। यदि न्याय नहीं मिला तो "तड़का हरियाणा बंद" करने की भी चेतावनी दी गई है।
FAQs
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मनीषा के साथ क्या हुआ है? मनीषा के साथ एक "बहुत बड़ी घटना" हुई है, जिसे लेकर युवा आक्रोशित हैं और न्याय की मांग कर रहे हैं। घटना के विवरण स्रोत में पूरी तरह से स्पष्ट नहीं हैं, लेकिन गंभीर अपराध का संकेत मिलता है।
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युवा विरोध प्रदर्शन क्यों कर रहे हैं? युवा मनीषा के लिए न्याय की मांग कर रहे हैं। वे प्रशासन पर घटना के बाद से 6 दिनों में भी अपराधियों को गिरफ्तार करने और कार्रवाई करने में लापरवाही का आरोप लगा रहे हैं।
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प्रदर्शनकारी कहां विरोध कर रहे हैं? प्रदर्शनकारी भानगढ़ गांव के पास राष्ट्रीय राजमार्ग को जाम कर रहे हैं, उन्होंने रास्ते को ट्रैक्टरों से अवरुद्ध कर दिया है।
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प्रशासन की इस पर क्या प्रतिक्रिया है? प्रशासन प्रदर्शनकारियों से राष्ट्रीय राजमार्ग खाली करने का आग्रह कर रहा है, सुप्रीम कोर्ट के आदेशों का हवाला दे रहा है। वे यह भी कह रहे हैं कि एक कमेटी प्रदर्शनकारियों के साथ समन्वय स्थापित कर रही है。
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प्रदर्शनकारियों की प्रमुख मांगें क्या हैं? प्रदर्शनकारियों की प्रमुख मांगें तत्काल न्याय, आरोपियों की गिरफ्तारी, और "307, 302, 75, 51, 376" जैसी धाराओं के तहत कार्रवाई हैं। कुछ प्रदर्शनकारी "गर्दन के बदले गर्दन" जैसी कठोर सजा की भी मांग कर रहे हैं।